इस खास रेस्टोरेंट में खाना खा रहे गिद्ध व चील

कानपुरः क्या किसी ऐसे रेस्टोरेंट के बारे में सुना है, जहां गिद्ध और चील खाना खाते हों। कानपुर शहर के चि़ड़ियाघर में बने रैप्टर्स रेस्टोरेंट में यह नजारा देखने को मिलता है। गिद्ध व चील इन दिनों यहां मांस के टुकड़ों का लुत्फ उठा रहे हैं। यह विशेष रेस्टोरेंट यहां के सफारी क्षेत्र में तैयार किया गया है। 

इसका मुख्य उद्देश्य यहां पर एक साथ अच्छी संख्या में गिद्धों और चीलों को बुलाना है। चिकित्सकों का कहना है गिद्धों की संख्या देश में बहुत तेजी से कम हो रही है, इसलिए इनका संरक्षण किया जाना महत्वपूर्ण है। जब झुंड में गिद्ध आएंगे तो स्वाभाविक है कि वह पहले नेस्टिंग फिर ब्रीडिंग (प्रजनन) करेंगे, इससे उनकी संख्या में इजाफा हो सकता है।


गिद्ध, चील और अन्य शिकार करने वाले पक्षियों को ठहराव देने के लिए सफारी क्षेत्र में जो रेस्टोरेंट का स्थान तैयार किया गया है, उसमें चारों ओर पेड़ लगे हैं। ऊपरी भाग पूरी तरह खुला है, बीच-बीच में लकड़ी की मोटी टहनियां रखी गई हैं। जिन पर गिद्ध व चील आराम से बैठते हैं, वे केवल मीट खाकर उड़ न जाएं, इसलिए पास ही छोटा सा तालाब भी बनाया गया है।

रुकेगा संक्रमण, गंदगी भी नहीं फैलेगी

चिकित्सक आर.के. सिंह के मुताबिक, पहले प्राणि उद्यान के अंदर अलग-अलग चार क्षेत्रों में मीट के टुकड़े डाले जाते थे। इससे दुर्गध और संक्रमण फैलने का खतरा रहता था, बारिश के समय दिक्कतें बढ़ती थीं लेकिन, रेस्टोरेंट की व्यवस्था के बाद संक्रमण व गंदगी की समस्या नहीं है। चि़ड़ियाघर में आने वाले गिद्ध कोल गिद्ध और ग्रिफॉन है, इसमें ग्रिफॉन दुर्लभ प्रजाति का है।